Monthly Archives: July 2018

No confidence motion modi sarkar ko mila saansado ka vishwaas

अविश्वास प्रस्ताव: मोदी सरकार को मिला 325 सांसदों का विश्वास, विपक्ष 126 पर सिमटा

अविश्वास प्रस्ताव पर जवाब की शुरुआत करते हुए प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने कहा, ‘अविश्वास प्रस्ताव देश के लोकतंत्र की शक्ति का प्रतीक है। उन्‍होंने सदस्यों से आग्रह किया कि वे इस अविश्वास प्रस्ताव को खारिज करें। उन्‍होंने कहा कि इस अविश्वास प्रस्ताव को लाने की वजह अहंकार है। टीडीपी की तरफ से आया यह प्रस्ताव आया है। कुछ सदस्यों ने इस प्रस्ताव का समर्थन किया है। लेकिन एक बहुत बड़ा वर्ग है जिसने इस प्रस्ताव का विरोध किया है। प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने कहा, हम सब 30 साल के बाद देश में पूर्ण बहुमत के साथ बनी हुई सरकार के प्रति विश्वास प्रकट करते हैं।


प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने कहा, ‘वैसे मैं समझता हूं यह एक अच्छा मौका है कि हमें अपनी बात कहने का मौका मिल रहा है। साथ ही देश को यह भी देखने मिल रहा है कि कैसी नकारात्मकता है। कैसे विकास के प्रति विरोध का भाव है। कैसे नकारात्मक राजनीति ने कुछ लोगों को घेर कर रखा हुआ है। और उन सबका चेहरा निखरकर कर बाहर आया है। कइयों के मन में प्रश्न है कि अविश्वास प्रस्ताव आया है। न सदन में बहुमत है। फिर सदन में यह प्रस्ताव आया क्यों। और सरकार को गिराने को इतना ही उतावलापन था तो मैं हैरान था कि इसे 48 घंटे रोकने की बात हो रही थी। चर्चा नहीं हुई तो आसमान फट जाएगा क्या या भूकंप आय जाएगा क्या। चर्चा की तैयारी नहीं थी तो इसे लाए क्यों। इसे टालने की कोशिश इस बात को बताती है कि उनकी क्या कठिनाई थी। ‘न मांझी न रहवर न हक में हवाएं है कश्ती भी जरजर यह कैसा सफर है।’


‘यह इसलिए हुआ है कि अहंकार इस प्रकार की प्रवृत्ति करने के लिए खींच कर ले जाता है। मोदी हटाओ। मैं हैरान हूं कि आज सुबह भी कि अभी तो चर्चा प्रारंभ हुई थी, जय पराजय का फैसला नहीं हुआ था। जिनको यहां पहुंचने की जल्दी है वह उठो उठो कर रहे थे। न यहां कोई उठा सकता है न बिठा सकता है। सिर्फ सवा सौ करोड़ जनता कर सकती है। लोकतंत्र में जनता पर भरोसा होना, चाहिए इतनी जल्दबाजी क्या है। यह अहंकार ही है कि जो कहता है कि हम खड़े होंगे तो पीएम 15 मिनट भी खड़े नहीं हो पाएंगे। मैं खड़ा भी हूं और जो चार साल काम किया है उस पर अड़ा भी हूं। हमारी सोच उनसे अलग है।’


प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने कहा, ‘डंके की चोट यह कहा जाता है कि साल 2019 में मोदी को आने नहीं देंगे। लोकतंत्र में जनता जनार्दन भाग्यविधाता होती है। लोकतांत्रिक प्रक्रिया पर भरोसा होना जरूरी है। अगर साल 2019 में कांग्रेस सबसे बड़ा दल बनती है तो मैं बनूंगा पीएम। लेकिन दूसरों की ढेर सारी ख्वाहिशें हैं। उनका क्या होगा इस बारे में कंफ्यूजन है। यह सरकार का फ्लोर टेस्ट नहीं है, ये तो कांग्रेस और उनके तथाकथित साथियों का फ्लोर टेस्ट है। इस प्रस्ताव के बहाने अपने कुनबे को जमाने की जो कोशिश की है वह कहीं बिखर न जाए, इसकी चिंता बहुत है। एक मोदी को हटाने के लिए ऐसे लोगों को इकट्ठा करने का प्रयास हो रहा है। मेरी कांग्रेस को सलाह है- जब भी आपको संभवित साथियों की परीक्षा लेनी है तो जरूर लीजिए लेकिन कम से कम अविश्वास प्रस्ताव को तो बहाना न बनाइए। जितना अविश्वास आप सरकार पर करते हैं उतना विश्वास अपने साथियों पर तो कीजिए। हम यहां इसलिए हैं क्योंकि हमारे पास संख्या बल है। हम यहां इसलिए हैं क्योंकि सवा सौ करोड़ देशवासियों का आशीर्वाद है। अपने स्वार्थ पूरे करने के लिए देशवासियों के विश्वास पर अविश्वास न करें। बिना तुष्टिकरण, बिना वोट बैंक की राजनीति किए, सबका साथ सबका विकास के मंत्र पर हम काम करते हैं। पिछले चार वर्ष में उस वर्ग और क्षेत्र में काम किया है।’

‘सबका साथ सबका विकास, इसी मंत्र को लेकर काम करने वाली हमारी सरकार है। हमारी सरकार के कार्यकाल में 18 हजार गांवों में बिजली पहुंची है। यह काम पहले भी सरकारें कर सकती थीं। लेकिन 18 हजार गांवों में 15 हजार गांव पूर्वी भारत के हैं। और इन 15 में भी 5 हजार गांव पूवोत्तर के हैं। इन इलाकों में हमारे आदिवासी, हमारे गरीब लोग रहते हैं। ये आजादी के बाद से आज तक वंचित हैं। ये लोग इसलिए नहीं करते थे क्योंकि उनका गणित सही नहीं बैठता। उनका इस आबादी पर विश्वास नहीं था। इसी वजह से पूर्वोत्तर को अलग-थलग कर दिया गया। हमने सिर्फ पहुंचाने के लिए नहीं बल्कि कनेक्टिवी के हर मार्ग पर तेजी से काम किया। बैंकों का राष्ट्रीयकरण किया लेकिन गरीबों के लिए बैंक के दरवाजे नहीं खोले। यह काम हमने किया। लगभग 32 करोड़ जनधन खाते खोलने का काम हमने किया। आज 80 हजार करोड़ रुपये गरीबों ने बचत करके इन खातों में जमा किया। 8 करोड़ शौचालय बनाने का काम हमने किया। उज्‍ज्‍वला योजना से 4.5 करोड़ महिलाओं को धुआं मुक्त किचन दिया। वो लोग 9 और 12 सिलेंडर में खोए हुए थे। एक अंतरराष्ट्रीय सर्वे के अनुसार बीते दो वर्षों में 5 करोड़ लोग गरीबी से बाहर आए, 20 करोड़ गरीब लोगों को मात्र 90 पैसे प्रतिदन पर बीमा मिला। इनको इन बातों पर भी विश्वास नहीं है। हम किसानों की आय 2022 तक दोगुना करने की दिशा में कदम उठा रहे हैं। बाजार में व्यवस्था में सुधार कर रहे हैं। 1999 सीचांई योजनाओं को पूरा करने का काम चल रहा है। लेकिन इस पर भी इनको भरोसा नहीं है। हमनें 15 करोड़ सॉइल हेल्‍थ कार्ड किसानों तक पहुंचाया।’

‘हमने पीएम किसान योजना से किसानों को विश्वास दिलाने का काम किया। हमने बीमा का दायरा बढ़ाया। किसानों से जितना लिया गया उन्हें तीन गुना ज्यादा राशि दी गई। एलईडी बल्ब, क्या कारण है कि उनके शासन में यह बल्ब 350 से 400 रुपये में बिकता था। आज यह 40 रुपये में दिया जा रहा है। आज 100 करोड़ एलईडी बल्ब बिक चुके हैं। उनके समय में मोबाइल मैन्यूफैक्चिरंग कंपनियां दो थीं, आज 120 हैं। युवाओं के स्वरोजगार के लिए पहले युवाओं को सर्टिफिकेट दे दिया जाता था। आज 10 हजार से ज्यादा स्टार्टअप चला रहे हैं। एक समय था जब हम डिजिटल लेनदेन की बात करने लगे तो लोग कहने लगे कि हमारा देश अनपढ़ है। जो लोग इस प्रकार से देश की जनता की ताकत को कम आंकते थे उन्हें जनता ने जवाब दिया। अकेले डी मैट और मोबाइल से 40 हजार करोड़ का ट्रांजैक्शन हुआ।’

‘मेक इन इंडिया या जीएसटी पर भी इनका भरोसा नहीं है। भारत ने अपनी अर्थव्यवस्था के साथ दुनिया की अर्थव्यस्था को बल दिया है। भारत आज दुनिया की 6 सबसे बड़ी अर्थव्यवस्थाओं में है। हमने काले धन के खिलाफ लड़ाई छेड़ी। यह लड़ाई रुकने वाली नहीं है। इसके कारण कैसे-कैसे लोगों को परेशानी हो रही है। हमनें टेक्नोलॉजी का उपयोग किया। इसके माध्यम से सरकारी खजाने से निकलने वाले 90 हजार करोड़ रुपये को कहीं और जाने से रोका। ढाई लाख से ज्यादा शेल कंपनियों को ताला गया। 2 लाख कंपनियों पर कभी भी ताला लग सकता है। क्योंकि इसको पहले की सरकार ने पनपाया था। बेनामी संपत्ति का कानून सरकार ने पारित किया। 20 साल तक इसे रोका गया था क्यों, किसको बचाना चाहते थे। अभी तक 4.5 हाजर करोड़ की संपत्ति जब्त की गई। देश और दुनिया को विश्वास है लेकिन जो खुदपर विश्वास नहीं कर सकते हैं वह हमपर कैसे करेंगे। इस प्रकार के मानसिकता वालों के लिए हमारे शास्त्रों में कहा गया- जब तक पक्षी के मुंह में बारिश की बूंद सीधे नहीं गिरती तो इसमें बारिश का क्या दोष। कांग्रेस को खुदपर अविश्वास है। अविश्वास उनकी कार्यशैली का हिस्सा है। उनको विश्वास नहीं है स्वच्‍छ भारत, अंतरराष्ट्रीय योग दिवस, आरबीआई पर विश्वास नहीं, सीजेआई पर भी विश्वास नहीं। देश का नाम अंतरराष्ट्रीय मंचों पर कैसे हो रहा विश्वास नहीं। इनको ईवीएम पर भरोसा नहीं, चुनाव आयोग पर भरोसा नहीं। यह अविश्वास क्यों बढ़ गया है। क्योंकि कुछ मुट्ठी भर लोग यह मानते थे कि यह सिर्फ उनका अधिकार है और यह जनअधिकार बनने लगा तो उन्हें तकलीफ हुई। भ्रष्टाचार पर हमला हुआ तो उनकी बेचैनी बढ़ी। भ्रष्टाचार की कमाई रुकी तो तकलीफ बढ़ी।’


मैं चाहता हूं कि शिव आपको इनती शक्ति दें कि आप साल 2024 में फिर से अविश्वास प्रस्ताव लेकर आएं। मेरी आपको शुभकामनाएं हैं। यहां पर डोकलाम की चर्चा की गई। जिस विषय की जानकारी नहीं है, कभी-कभी उसपर बोलना महंगा पड़ जाता है। ऐसे विषयों पर बोलने से पहले समझना चाहए। जब सारा देश सारा तंत्र सारी सरकार एक जुट होकर डोकलाम के विषय को लेकर अपनी जिम्मेदारी संभाल रही थी। तब वह चीन के राजदूत के साथ बैठ रहे थे। और बाद में कभी ना तो कभी हां। जैसे फिल्मी अंदाज में चल रहा है। कोई कहता था मिले कोई कहता नहीं मिले। कांग्रेस प्रवक्ता ने साफ मना कर दिया था कि उनके उपाध्यक्ष चीनी राजदूत से नहीं मिले थे। फिर कांग्रेस ने माना कि मुलाकात हुई थी। क्या देश और देश के विषयों पर गंभीरता नहीं होती क्या। क्या हर जगह पर बचकानी हरकत करेंगे क्या। यहां पर राफेल विवाद को छेड़ा गया। मैं कल्पना नहीं कर सकता हूं कि सत्य को इस प्रकार से रौंदा जा सकता है। देश को गुमराह करने का काम किया जा रहा। यह देश की सुरक्षा से जुड़े विषय हैं। यह दुखद है कि इस सदन में लगाए आरोपों पर दोनों देशों को बयान जारी करना पड़ा। क्या ऐसी बचकानी हरकत हम करते रहेंगे। बिना किसी सबूत के कोई ऐसा कैसे बोल सकता है।


मैं देशवासियों को आश्‍वस्‍त करना चाहता हूं कि यह समझौता दो देशों के बीच हुआ है और पूरी पारदर्शिता के साथ हुआ है। राष्ट्रीय सुरक्षा के मुद्दे पर बचकाना बयानों से बचा जाए। आज भी हिन्दुस्तान का हर सिपाही जो सीमा पर होगा, उसको इतनी चोट पहुंची होगी जिसकी हम कल्पना नहीं कर सकते हैं। आप सर्जिकल स्ट्राइक को जुमला स्ट्राइक कहते हैं, यह देश बर्दाश्त नहीं करेगा। गाली देना है तो मुझे दीजिए, देश के जवानों को गाली देना बंद कीजिए। सेना को अपमानित करने का काम गलत है। पीढ़ी दर पीढ़ी चला आ रहा यह अविश्वास, यह कांग्रेस की फितरत है। कांग्रेस ने देश में अस्थिरता फैलने के लिए अविश्वास प्रस्ताव का दुरुपयोग किया। इस प्रस्ताव की स्वीकृति के बाद बयान दिया गया कि कौन कहता है हमारे पास नंबर नहीं है। 1998 याद कीजिए जब राष्ट्रपति भवन के सामने खड़े होकर दावा किया गया था कि हमारे पास 272 की संख्या है। और अटल जी की सरकार को सिर्फ एक वोट से गिरा दिया गया। फिर 272 की संख्या का दावा खोखला निकला। आखिर स्थिर जनादेश अस्थिर करने के लिए खेल खेले जा रहे हैं, राजनीतिक अस्थिरता के द्वारा अपना स्वार्थ सिद्ध करना कांग्रेस की प्रवृति रही है।


कांग्रेस ने चौधरी चरण सिंह का भी अपमान किया। चंद्रशेखर के साथ भी ऐसा ही किया। पहले संयोग की रस्सी फेंको फिर धोखे से उसे वापस खींचो। यही फॉर्मूला सन 1997 में अपनाया गया। पहले देवेगौड़ा जी को, फिर इंद्र कुमार गुजराल जी की बारी आई। कांग्रेस ने इन लोगों के साथ क्या किया कौन भूल सकता है। कैसे कांग्रेस ने अपनी सरकार बचाने के लिए दो-दो बार विश्वास को खरीदने का प्रयास किया। वोट के बदले नोट यह खेल कौन नहीं जानता है। आज यहां एक बात कही गई, यहां पूछा गया प्रधानमंत्री अपनी आंख में मेरी आंख भी नहीं डाल सकते। सही कहा- हम कौन होते हैं जो आपकी आंख में आंख डाल सकें। मैं तो गरीब मां का बेटा हूं, गांव से आया, पिछड़ी जाति से आता हूं। आप नामदार हम कामदार हैं। इतिहास गवाह है। जेपी ने यह कोशिश की तो क्या किया गया, सुभाषचंद्र बोस, चौधरी चरण सिंह, सरदार बल्लभ भाई पटेल, चंद्रशेखर जी ने आंख में आंख डालने की कोशिश की, प्रणब मुखर्जी ने यह कोशिश की, शरद पवार ने भी यह कोशिश की थी तो क्या किया गया। आंख में आंख डालने वालों को कैसे अपमानित किया जाता है, इसका इतिहास नया नहीं है। हम तो कामदार हैं तो हम नामदार से आंख कैसे मिला सकते हैं। आंखों की बात करने वालों के आंखों की हरकत आज पूरा देश देख रहा है। लेकिन आंख में आंख डालकर आज सत्य को कुचला गया है। यहां कहा गया कांग्रेस ही थी जीएसटी में पेट्रोलियम को क्यों नहीं लाई। अपने परिवार के बाहर भी कांग्रेस सरकार का इतिहास है। जब यूपीए सरकार ने ही पेट्रोलियम को जीएसटी से बाहर रखने का निर्णय किया था। आज यहां ये भी कहा गया कि आप चौकीदार नहीं आप भागीदार हैं। मैं गर्व के साथ कहना चाहता हूं कि हम चौकीदार भी हैं भागीदार भी हैं लेकिन आपकी तरह ठेकेदार नहीं हैं। हम गरीब और किसानों के चौकीदार हैं। हम भागीदार हैं विकास के। हम देश को विकास की नई राह पर ले जाने वाले भागीदार हैं। उनके दुख को बांटना हमारी जिम्मेदारी है। हमें गर्व है इस बात पर।


कांग्रेस का एक ही मंत्र है, या तो हम रहेंगे और हम नहीं तो फिर अस्थिरता रहेगी। अफवाहें उड़ाई जाती हैं, झूठ फैलाया जाता है। आरक्षण खत्म हो जाएगा, दलितों पर अत्याचार वाला कानून खत्म किया जाएगा। यह सब देश को हिंसा में झोंकने के लिए किया जा रहा है। यह लोग दलित, गरीबों और पिछड़ों को ब्लैकमेल करके राजनीति करते हैं। यह लोग सिर्फ चुनाव जीतने के शॉर्ट कट ढूंढ रहे हैं। बार-बार अंबेडकर की राजनीति का मजाक उड़ाने वाला आज उनका गीत गाने लगे हैं। ये लोग हमें लोकतंत्र का पाठ पढ़ाने की बात करते हैं। जो मुख्यमंत्री पसंद नहीं आता था उसे हटाने। 1991, 1998, 1999 में देश को समय से पहले चुनाव में घसीटा गया। लोकतंत्र को दांव पर भी लगाया गया। स्वभाविक है जिसके अंदर इतना अहंकार भरा है उन्हें हमारा यहां बैठना कैसे गंवारा हो सकता है। कांग्रेस पार्टी जमीन से कट चुकी है, और वो तो डूबे हैं लेकिन उनके साथ जाने वाले भी डूब रहे हैं। कांग्रेस पार्टी अलग-अलग राज्यों में क्यों और कैसे कमजोर हो गई, मैं एक ऐसे राज्य से आता हूं जहां इस पार्टी का प्रभुत्व समाप्त हो गया है। क्यों कांग्रेस इस बात को समझ नहीं पाई कि सत्ता अब ऊपर के लोगों से निचले तबके के पास पहुंच चुकी है।

‘कांग्रेस पार्टी अलग-अलग राज्यों में क्यों और कैसे कमजोर हो गई, मैं एक ऐसे राज्य से आता हूं जहां इस पार्टी का प्रभुत्व समाप्त हो गया है. क्यों कांग्रेस इस बात को समझ नहीं पाई कि सत्ता अब ऊपर के लोगों से निचले तबके के पास पहुंच चुकी है।’ यह कोट 19 अप्रैल 1997 का है। यह श्रीमान चिदंबरम जी का वाक्य है। कुछ विद्वान लोगों को बातें शायद समझ नहीं आई होंगी। 18 साल पहले अटल बिहारी वाजपेयी की सरकार ने तीन राज्यों का गठन किया। न कोई खींचातान न कोई झगड़ा, मिल बैठकर के रास्ते निकाले और तीनों राज्य बहुत तेजी से प्रगति कर रहे हैं। लेकिन राजनीतिक लाभ पाने के लिए आंध्र के लोगों को विश्वास में लिए बगैर आपने आंध्र और तेलंगाना का विभाजन किया। यह बात सही है कि मैंने यह कहा था कि तेलगु हमारी मां है तेलगु के स्पिरिट को टूटने नहीं देना चाहिए। उन्होंने मां को मार दिया लेकिन बच्चे को बचा लिया। लेकिन साल 2014 में आपका क्या हाल हुआ कि जनता ने आपको न ये दिया न वो। आपके लिए यह नया नहीं है। आपने भारत-पाकिस्तान का विभाजन किया। आपने इनका भी ऐसी ही विभाजन किया। मुझे बराबर याद है कि चंद्रबाबू का और केसीआर का पहले साल बंटवारे को लेकर झगड़े होते थे। उस समय टीडीपी की पूरी ताकत तेलंगाना के खिलाफ लगाए रहते थे। और टीआरएस ने गंभीरता दिखाई। उधर क्या हाल हुआ आप जानते हैं। संसाधनों का विवाद आज भी चल रहा है। एनडीए की सरकार ने सुनिश्चित किया कि आंध्र और तेलंगाना के विकास में कोई कमी नहीं आनी चाहिए।

आंध्र के लिए हमने अलग से कैटेगरी बनाई ताकि उसे वही फायदा मिले जो स्पेशल राज्य को मिलता है। सराकर 14वें वित्त आयोग की सिफारिशों से बंधी हुई है। स्पेशल असिस्टेंट पैकेज के तहत आंध्र को फायदा पहुंचाने में कोई कोर कसर नहीं छोड़ी थी। टीडीपी जब एनडीए से निकली तो मैंने चंद्रबाबू से बात की थी। मैंने कहा था कि चंद्रबाबू, आप वाईएसआर के जाल में फंस रहे हो। और मैंने कहा वहां की स्पर्धा में आप किसी हालत में बच नहीं पाओगे। उनके झगड़े में उपयोग सदन का किया जा रहा है। आंध्र की जनता इस घनघोर अवसरवाद को देख रही है। कोई भी पैकेज देते हैं तो उसका प्रभाव दूसरे राज्य पर भी पड़ता है। इसी सदन में तीन साल पहले मोइली ने कहा था कि आप किसी तरह से असमान्यता फैला सकते हैं राज्यों के बीच। मैं आज आंध्र के लोगों को विश्वास दिलाना चाहता हूं कि चाहे किसान का काम हो या राजधानी का, केंद्र सरकार आंध्र की जनता के साथ है। आंध्र का भला हो उसी में देश का भला होगा। हम विकास में कोई कोर-कसर नहीं छोड़ेंगे। हमारा प्रयास हमारा काम करने का तरीका समस्याओं को सुधारने का है। वन रैंक वन पेंशन कौन थे जिसने इतने दशकों तक लटका कर रखा था। जीएसटी भी किसने रोका रखा था। यहा कहा गया था कि गुजरात की सरकार ने जीएसटी को रोका था। मैंने उस समय कहा था कि राज्यों की बात को सुलझाए बगैर आप इसे लागू नहीं कर पाएंगे। वह अपने अहंकार में राज्यों की बात सुनने को राजी नहीं थे।

शुक्रवार को लोकसभा में केंद्र की एनडीए सरकार के खिलाफ अविश्‍वास प्रस्‍ताव पर चर्चा शुरू हुई। एनडीए के पूर्व सहयोगी और सत्तारूढ़ गठबंधन के खिलाफ अविश्वास प्रस्ताव लाने में प्रमुख भूमिका निभाने वाली तेलुगू देशम पार्टी (तेदेपा) ने प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी पर आंध्र प्रदेश को विशेष राज्य का दर्जा नहीं देकर राज्य को ‘धोखा देने’ का आरोप लगाया। तेदेपा ने कहा कि वह ‘नैतकिता और बहुमत’ के बीच की लड़ाई लड़ रही है। लोकसभा में बहस की शुरुआत करते हुए तेदेपा के सदस्य जयदेव गल्ला ने कहा कि साल 2014 में आंध्र प्रदेश के ‘अवैज्ञानिक विभाजन’ के बाद से राज्य के साथ न्याय नहीं किया गया। गल्ला ने कांग्रेस, राष्ट्रवादी कांग्रेस पार्टी, तृणमूल कांग्रेस, समाजवादी पार्टी, आम आदमी पार्टी, माकपा और एआईएमआईएम को प्रस्ताव का समर्थन करने के लिए धन्यवाद दिया।

वहीं चर्चा के दौरान बीजेपी सांसद राकेश सिंह ने कहा, ‘पूर्व प्रधानमंत्री डॉ. मनमोहन सिंह ने कहा था कि देश के संसाधनों पर पहला अधिकार अल्पसंख्यकों का है, लेकिन प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने नई दिशा देते हुए कहा कि देश के संसाधनों पर पहला अधिकार गरीबों का है। पिछले 60-70 वर्षों में गरीबी हटाओ के नारे तो खूब लगे लेकिन यह सच है कि गरीबी नहीं बल्कि गरीबों को ही समाज की मुख्य धारा से हटना पड़ा।’ उन्‍होंने कहा, कांग्रेस ने इस देश को दागदार सरकार दी है और हमने साफ़ सुथरी दमदार सरकार दी है। राकेश सिंह ने कहा कि देश के लगभग 415 जिलों के लगभग 4 लाख गांव खुले में शौच से मुक्त हो चुके हैं। आज प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी जी के नेतृत्व में स्वच्छता को एक नया आयाम दिया गया है जो धीरे-धीरे भारतीयों के स्वाभिमान और अभिमान का हिस्सा बन रहा है।

कांग्रेस अध्यक्ष राहुल गांधी ने लोकसभा में केंद्र सरकार पर देश की जनता से किये वादे पूरा नहीं करने का आरोप लगाते हुए प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी से जवाब देने की मांग की। राहुल ने कहा, हर बैंक में 15 लाख जुमला स्ट्राइक नंबर 1 है और पीएम के शब्द का मतलब होना चाहिए। उन्‍होंने कहा कि 2 करोड़ रोजगार जुमला स्ट्राइक नंबर 2 है। कांग्रेस अध्‍यक्ष ने कहा, ‘सूरत के लोगों ने बताया कि प्रधानमंत्री जी ने सबसे जबरदस्त चोट हमें मारी है और आज हिन्दुस्तान में बेरोज़गारी 7 साल में सबसे ज्यादा है।’ उन्‍होंने कहा, ‘जो छोटे-छोटे दुकानदारों के दिल में है, किसानों के दिल में है वो प्रधानमंत्री तक नहीं पहुंचता। कांग्रेस जीएसटी लेकर आयी थी और गुजरात के मुख्यमंत्री ने विरोध किया था। हम चाहते थे पेट्रोल और डीजल जीएसटी में हो।’ राहुल गांधी ने शुक्रवार को कहा कि फ्रांस के राष्ट्रपति इमैनुएल मैक्रों ने उनसे कहा है कि राफेल जेट विमान पर भारत के साथ उनका कोई भी गोपनीय समझौता नहीं हुआ है। इसके साथ ही उन्होंने कहा कि प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी और रक्षामंत्री निर्मला सीतारमण ने इस बारे में देश से झूठ बोला है। राहुल ने लोकसभा में सत्ता पक्ष पर जोरदार हमला करते हुए कहा, “मैंने व्यक्तिगत तौर पर फ्रांस के राष्ट्रपति से मुलाकात की और उनसे पूछा कि क्या भारत के साथ कोई गोपनीय समझौता हुआ है। उन्होंने मुझसे कहा कि ऐसा कोई भी गोपनीय समझौता दोनों देश के बीच नहीं हुआ। उन्होंने कहा कि उन्हें ऐसा कहना में कोई हिचक नहीं है और मैं ऐसा देश को बता सकता हूं।”

Pm narendra modi ki bhakti me dooba shahjahanpur ka deepak

प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी की भक्ति में डूबा सहारनपुर का दीपक पुंडीर

प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने अपने कार्यकाल के चार वर्ष में देश के साथ विदेश में भी अलग पहचान बना ली है। लोग उनके इतने मुरीद हो गए हैं कि उनकी प्रतिमा बनाकर उसकी पूजा तक करने लगे हैं।

सहारनपुर के दीपक पुंडीर ऐसे ही एक मोदी भक्त हैं। दिवंगत जगदीश सिंह पुंडीर के बेटे तथा दो बच्चों के पिता दीपक के दिलो-दिमाग पर प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी का कुछ ऐसा प्रभाव हुआ कि उसने उनको अपना गुरु मान लिया। दीपक को लगा कि प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी से मुलाकात करना तो अब आसान नहीं है इसलिए दीपक ने छह महीने पहले पीएम नरेंद्र मोदी की प्रतिमा बनाने का निर्णय किया।

भले ही लोकतंत्र में जनता जनार्दन मानी जाती है, लेकिन कुछ समर्थक अपने नेता का बेहद आदर और स्नेह करते हैं। कुछ तो नेताओं का अनुसरण करते-करते उन्हें पूजने लगते हैं। ऐसा ही समर्थक है शहर के विनय विहार निवासी विजय प्रताप पुंडीर उर्फ दीपक। उन्होंने अपने घर में प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी की आदम कद प्रतिमा बना डाली। वह मोदी की प्रतिमा के पांव छूकर उनसे आशीर्वाद लेकर दिन की शुरुआत करता है। अपने परिवार के बच्चों को भी प्रतिमा के पांव छूकर आशीर्वाद लेने के लिए प्रेरित करता है। दीपक पुंडीर का मानना है कि वह एकलव्य है और नरेंद्र मोदी उनके गुरु द्रोणाचार्य हैं।

दीपक ने बताया कि उसने प्रतिमा बनाने के लिए रबर मैटीरियल, सिलीकॉन आदि जुटाना शुरू किया और 26 फरवरी 2018 से प्रतिमा बनानी शुरू कर दी। दो बच्चों का पिता दीपक इस प्रतिमा को तकरीबन तैयार कर चुका है। दीपक ने बताया कि मोदी मेरे लिए भगवान हैं, मैं हर सुबह उनके चरण स्पर्श करके ही अपने दिन की शुरुआत करता हूं। फिलहाल बेरोजगारी का दंश झेल रहे दीपक ने बताया कि उसके पास धन का अभाव है वर्ना प्रतिमा और भी भव्य बनती। वह बच्चों से कहता है कि मोदी जी का एक गुण भी धारण कर लिया तो जीवन सफल हो जाएगा।

दीपक ने बताया कि इससे पहले भी वह एक फिल्म एक्टर की प्रतिमा का निर्माण कर चुका है। प्रतिमा को किसी को उपहार स्वरूप दे दिया था।

Pm narendra modi kal shahjahanpur ke roza me kisaan rally karenge

प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी कल शाहजहांपुर के रोजा में किसान रैली करेंगे।

न्यूनतम समर्थन मूल्य बढ़ाने के बाद कल पहली बार प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी शाहजहांपुर में किसानों के बीच में होंगे। राज्य सरकार के साथ ही भाजपा ने भी शाहजहांपुर के रोजा में होने वाली किसान रैली की जोरदार तैयारी कर ली है। इस रैली में नौ जिलों के किसान शामिल होंगे।

शाहजहांपुर के रौजा क्षेत्र के रेलवे मैदान पर माना जा रहा है कि प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी करीब सवा लाख किसानों को संबोधित करेंगे। मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ ने मंगलवार को इस रैली की तैयारियों का जायजा लिया था। इस रैली को सफल और ऐतिहासिक बनाने के लिए ग्राम पंचायत, ब्लाक स्तर से लेकर तहसील स्तर तक भाजपा नेताओं को किसानों को रैली स्थल में लाने की जिम्मेदारी दी गई है। भाजपा नेता रैली को सफल बनाने के लिए पूरी ताकत लगा रहे हैं। रैली स्थल पर जिला प्रशासन लगातार नजर बनाए हुए है।

रैली प्रभारी व बीजेपी प्रदेश उपाध्यक्ष पुरूषोत्तम खंडेलवाल का कहना है कि शाहजहांपुर में प्रधानमंत्री के विचार सुनने को करीब सवा लाख लोगों के आगमन की संभावना है। रैली को सफल बनाने के लिए सभी नेताओं और कार्यकर्ताओं को रैली को सफल बनाने के लगा दिया गया है। जिला प्रशासन भी बड़ी मुस्तैदी के साथ कार्य कर रहा है। पार्किंग से लेकर चार हैलीपैड तैयार किए गए है।

प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी की इस रैली के प्रति भाजपा भी बेहद गंभीर है। भाजपा प्रदेश अध्यक्ष महेंद्र नाथ पाण्डेय भी मंगलवार को मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ के साथ समीक्षा के लिए मंगलवार को यहां थे।

Bharat bhaagyashaali kyoki unke paas spasht drastikon ka pm david cameron

भारत भाग्यशाली क्योंकि उनके पास स्पष्ट दृष्टिकोण का पीएम- डेविड कैमरन

पूर्व ब्रिटिश प्रधानमंत्री डेविड कैमरन ने गुरुवार को कहा कि यह भारत का सौभाग्य है कि उनके पास एक स्पष्ट दृष्टिकोण का नेता है। कोलकाता में इंडियन चैंबर ऑफ कॉमर्स (आईसीसी) की वार्षिक मीटिंग में भाग लेने आए कैमरन ने सवालों का जवाब देते हुए कहा कि भारत को स्किल डेवलपिंग और इंफ्रास्ट्रक्चर पर ज्यादा से ज्यादा फोकस करना चाहिए। कैमरन ने प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी की महत्वकांक्षी योजना ‘स्किल इंडिया’ की तारीफ करते हुए कहा कि इस प्रकार के लक्ष्य तक अकेले सरकार की पहल से नहीं पहुंचा जा सकता है।

कैमरन ने कहा, ‘भारत भाग्यशाली है कि उनके पास एक स्पष्ट दृष्टिकोण का नेतृत्व करने वाला पीएम है। जब मैं प्रधानमंत्री मोदी से मिला था, तब मैंने देखा कि उनके पास लंबी समस्याओं के बारे में एक गहन विचार था। कैमरन ने आगे कहा कि ब्रिटेन और भारत जैसे देशों की सफलता मार्केट पर टिकी है। उन्होंने कहा कि भारत अवसरों की धरती है, जिसकी तेज गति से उभरती हुई अर्थव्यवस्था है, जिन्हें ज्यादा से ज्यादा इंफ्रास्ट्रक्चर और स्किल डेवलपमेंट पर फोकस करना चाहिए।

कैमरन ने कहा कि ट्रेड को संरक्षण और अलग करने की नीति देश की विकास में बहुत बड़ी बाधा और दो राष्ट्रों के बीच फ्री ट्रेड पर दबाव डालती है। दुनिया भर में चल रहे ट्रेड वॉर पर कैमरन ने कहा, ‘इस प्रकार की नीति को समझना फ्री ट्रेड के लिए सही नहीं है। अगर किसी को ऐसा लगता है कि इससे किसी एक की जीत हो रही है और दूसरे की हार है, लेकिन यह जरूरी नहीं कि ऐसा ही चलता रहेगा। फ्री ट्रेड किसी भी देश की सफलता में बहुत बड़ी भुमिका निभाता है।

अमेरिका और चीन के बीच चल रहे ट्रेड वॉर को लेकर कैमरन ने कहा कि ट्रेड वॉर शुरू करने बजाय ब्रिटेन का उद्देश्य रहा है कि कम्युनिस्ट राष्ट्र के साथ ज्यादा से ज्यादा व्यापारिक संबंध स्थापित किया जाए। स्कील इंडिया के बारे में साउथ कोरिया का उदाहरण देते हुए कैमरन ने कहा कि ब्रिटेन के 68 फिसदी की तुलना में साउथ कोरिया में 98 फिसदी स्टूडेंट स्किल पर फोकस करते हैं, वहीं भारत में 2 प्रतिशत फोकस करते हैं। ब्रेक्सिट के बाद अपने पद से इस्तीफा देने वाले पूर्व ब्रिटिश पीएम ने आशा जताई की भारत जल्द ही यूएन सिक्योरिटी काउंसिल का मेंबर होगा।

Avishvaas prastaav se pehle bole pm modi loktantrake liye aaj aham din

अविश्वास प्रस्ताव से पहले बोले मोदी – लोकतंत्र के लिए आज अहम दिन, भारत हमें करीब से देख रहा है

संसद के मॉनसून सत्र का तीसरा दिन काफी अहम है। आज लोकसभा में मोदी सरकार के खिलाफ विपक्ष के अविश्वास प्रस्ताव पर बहस होगी। पूरे देश की निगाहें इस बात पर टिकी हैं कि आज लोकसभा में क्या होगा और कांग्रेस और सरकार को जो समय दिये गये हैं, उनमें किस तरह की बातों को उठाया जाएगा। हालांकि, अविश्वास प्रस्ताव पर बहस से पहले प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने रचनात्मक और व्यवधान मुक्त बहस की उम्मीद जताई है।

प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने शुक्रवार की सुबह ट्वीट किया, ‘हमारे संसदीय लोकतंत्र में आज का दिन महत्वपूर्ण है. मुझे विश्वास है कि मेरे साथी सांसद मौके की नजाकत को समझेंगे और सकारात्मक, व्यापक तथा व्यवधान रहित बहस सुनिश्चित करेंगे। यह जनता और संविधान निर्माताओं के प्रति सांसदों का दायित्व है। भारत हमें काफी नजदीक से देख रहा होगा।’


बता दें कि सरकार के खिलाफ अविश्वास प्रस्ताव लाने वाला मुख्य दल तेलुगु देशम पार्टी (टीडीपी) आज लोकसभा में इस पर चर्चा की शुरुआत करेगा और लोकसभा अध्यक्ष ने उसे बोलने के लिए 13 मिनट का समय दिया है। पार्टी की ओर से जयदेव गल्ला पहले वक्ता होंगे। वहीं, मुख्य विपक्षी दल कांग्रेस को प्रस्ताव पर अपने विचार रखने के लिए 38 मिनट का समय दिया गया है। कांग्रेस प्रमुख राहुल गांधी और सदन में पार्टी के नेता मल्लिकार्जुन खड़गे इस पर बोल सकते हैं।

सदन में बहुमत वाली सत्तारूढ़ बीजेपी को चर्चा में 3 घंटे और 33 मिनट का समय दिया गया है। संसद में बीजेपी को ओर से चर्चा की शुरुआत राकेश सिंह करेंगे और सरकार की तरफ से अंत में पीएम नरेंद्र मोदी लोकसभा में बोलेंगे। आज अविश्‍वास प्रस्‍ताव पर चर्चा के दौरान ना तो प्रश्नकाल होगा, ना ही लंच ब्रेक होगा. यहां तक कि शुक्रवार को होने वाला निजी विधेयक का समय भी अगले सप्ताह तक के लिए टाल दिया गया है। 11 से लगातार 6 बजे तक होगा भाषणों का दौर चलेगा।

अभी लोकसभा में स्पीकर को छोड़कर 533 सदस्य हैं और 11 सीटें खाली हैं। एनडीए के पास 312 सांसद हैं जो बहुमत के आंकड़े 267 से काफी ज्यादा है। बीजेपी की कोशिश एआईएडीएमके और टीआरएस के 48 सासंदों से अपने पक्ष में वोट डलवा कर देश के सामने एनडीए की बढ़ी ताकत दिखाने की है। ऐसे में एनडीए प्लस को 360 वोट मिल सकते हैं। वो यह साबित करना चाहती है कि चुनावी साल में उससे सहयोगी दल छिटक नहीं रहे बल्कि नए सहयोगी दल मिल रहे हैं।

Modi sarkar aapko ghar aakar degi 5 lakh ka fayada

मोदी सरकार आपको घर आकर देगी 5 लाख रु. का फायदा, यह है योजना

जल्द ही आपको घर बैठे 5 लाख रुपए का फायदा मिलना शुरू हो जाएगा। इसके लिए मोदी सरकार ने प्लानिंग कर ली है। दरअसल, आयुष्मान भारत स्कीम के लिए मोदी सरकार करीब 11 करोड़ ‘फैमिली कार्ड’ छापेगी और उन्हें लोगों तक हाथोंहाथ पहुंचाएगी। सरकार गावों में ‘आयुष्मान पखवाड़ा’ का आयोजन करेगी। जहां इन कार्ड्स की हैंड डिलीवरी दी जाएगी। मतलब यह कि हर घर तक कार्ड पहुंचाने की जिम्मेदारी मोदी सरकार खुद उठाएगी। सरकार दिल्ली में 24X7 कॉल सेंटर भी बनाएगी, जहां इस मेडिकल इंश्योरेंस स्कीम से जुड़ी लोगों की शिकायतें सुनी जाएंगी और सवालों के जवाब दिए जाएंगे। इसकी जानकारी आयुष्‍मान भारत – नेशनल हेल्‍थ प्रोटेक्‍शन मिशन (AB-NHPM) ने दी है।

15 अगस्त तक पूरी होगी योजना?

आयुष्मान भारत-नेशनल हेल्थ प्रॉटेक्शन स्कीम (AB-NHPM) के सीईओ इंदु भूषण के मुताबिक, ‘सरकार आयुष्मान भारत के लिए सारी तैयारी 15 अगस्त तक पूरी करना चाहती है।’ हालांकि, अभी इसकी लॉन्च डेट तय नहीं है। ‘फैमिली कार्ड’ पर इस स्कीम के पात्र सदस्यों के नाम होंगे। कार्ड के साथ हर व्यक्ति के नाम वाला एक लेटर दिया जाएगा, जिसमें आयुष्मान भारत स्कीम की विशेषताएं बताई जाएंगी।

प्रक्रिया होगी आसान

AB-NHPM के मुताबिक, सरकार ने ग्रामीण इलाकों में 80% लाभार्थी और शहरी क्षेत्रों से 60% लाभार्थियों का चयन अब तक इन कार्ड के लिए किया है। फैमिली कार्ड लाभार्थियों की पहचान प्रक्रिया को आसान बनाने का एक जरिया भी होंगे। हालांकि, इसके लिए अन्‍य डॉक्‍युमेंट्स की भी जरूरत होगी।

ये होगी पूरी प्रोसेस

नेशनल हेल्‍थ एजेंसी से लाभार्थियों की सूचना मिलने पर सर्विस प्रोवाइड लेटर्स की प्रिटिंग शुरू करेंगे। प्रिटिंग के बाद एरिया कोड़ के मुताबिक सभी लेटर्स डिस्ट्रिक्ट हेडक्वॉर्टर भेजे जाएंगे। इसके बाद लेटर्स को ग्राम पंचायत भेजा जाएगा। इसके बाद सरकार के आयुष्‍मान पखवाड़ा कार्यक्रम में हेल्‍थ वर्कर्स इन लेटर्स को लाभार्थियों के परिवारों को खुद देंगे।

दो साल में पूरा होगा लक्ष्य

AB-NHPM के बिड डॉक्‍युमेंट के मुताबिक, रोज करीब 5 लाख लेटर जारी करने की रफ्तार से दो साल में 10.74 करोड़ इंफॉर्मेशन लेटर और फैमिली कार्ड छापने और बांटने होंगे। मतलब यह कि इन कार्ड्स को डिलीवरी में दो साल का वक्त लगेगा। पात्र परिवारों तक कार्ड नहीं पहुंचने पर उन्हें योजना से अयोग्य घोषित नहीं किया जाएगा।

23 घंटे का कॉल सेंटर होगा

आयुष्‍मान स्‍कीम को लेकर लोगों के सवालों और शिकायतों को दूर करने के लिए मोदी सरकार दिल्‍ली में एक कॉल सेंटर भी स्‍थापित करेगी। कॉल सेंटर की मदद से अपने होम टाउन से दूर रहने वालों की मदद की जाएगी। इसके लिए एक टोल फ्री नंबर होगा। कॉल सेंटर ई-मेल और ऑनलाइन चैट का जवाब देने में भी सक्षम होंगे। दोनों ही प्रॉजेक्ट्स के लिए सर्विस प्रोवाइडर्स का चयन अगले महीने तक कर लिया जाएगा।

अगस्‍त से शुरू होगी प्रक्रिया

कॉल सेंटर और फैमिली कार्ड्स की प्रिन्टिंग का कॉन्ट्रैक्ट अगस्‍त से दिए जाएंगे। सर्विस प्रोवाइडर हब एंड स्‍पोक मॉडल का इस्‍तेमाल कॉल सेंटर के लिए करेंगे। इसके अलावा देशभर में जोनल कॉल सेंटर भी बनाए जाएंगे। उम्‍मीद है कि मोदी सरकार की यह योजना अगले कुछ महीनों में अमल में आ जाएगी।

Pm modi ne namo app ke jariye saubhaagy yojana ke labhaarthiyo se ki baat

प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने नमो एप के जरिए सौभाग्य योजना के लाभार्थियों से की बातचीत

प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने आज नमो एप के जरिए सौभाग्य योजना के लाभार्थियों से बातचीत के दौरान कहा कि कांग्रेस ने सिर्फ घर-घर बिजली पहुंचाने के वादे किए, लेकिन उनकी सरकार ने जो वादे किए उसे सच करके दिखाया। उन्होंने कहा, ‘यूपीए सरकार ने साल 2009 तक सभी गांवों में बिजली पहुंचाने का वादा किया था। सत्ताधारी पार्टी की अध्यक्ष ने तो हर घर में बिजली पहुंचाने की बात की लेकिन ऐसा नहीं हुआ। आजादी के 70 साल बाद भी 18,000 गांव ऐसे थे जहां बिजली पहुंची ही नहीं।’


प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने कहा, ‘मेने लाल किले से हर गांव में बिजली पहुंचाने की घोषणा की। हम प्रत्येक गांव में गए। हमने न सिर्फ बिजली पहुंचाने पर फोकस किया, बल्कि देशभर में बिजली ट्रांसमिशन के नेटवर्क को भी ठीक किया।’ नमो ऐप के जरिए मणिपुर के एक गांव के लोगों के साथ बातचीत के दौरान प्रधानमंत्री ने पूछा कि बिजली आने के बाद तो आप लोगों ने फुटबॉल वर्ल्ड कप का मैच भी देखा होगा। इस सवाल पर वहां लोगों के चेहरे पर खुशी तैर गई। लोगों ने बताया कि पहले गांव में बिजली नहीं थी और वो टीवी नहीं देख पाते थे। अरुणाचल प्रदेश के लोगों ने बताया कि अब उन्होंने हीटर भी खरीद लिया है और उनके बच्चे अच्छी तरह पढ़ाई कर पाते हैं। त्रिपुरा के लोगों ने प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी को बताया कि बिजली आने से उनके बच्चे सबसे ज्यादा खुश हैं। गर्मी में पंखों से बहुत आराम मिलता है।


केंद्र की मोदी सरकार ने प्रधानमंत्री सहज बिजली हर घर योजना का प्रारंभ किया है। इस योजना को संक्षेप में सौभाग्य योजना कहते हैं। इस योजना के तहत गरीबों लोगों को निशुल्क बिजली कनेक्शन दिए जा रहे हैं। निशुल्क कनेक्शन के साथ ही एक एलईडी बल्ब, मीटर, सर्विस कनेक्शन, सॉकेट और स्विच भी दिए जा रहे हैं, ताकि उनकी बुनियादी जरुरतें पूरी हो सकें। योजना के तहत 31 मार्च 2019 तक हर घर में बिजली पहुंचाने का लक्ष्य रखा गया है। सरकार 16,000 करोड़ रुपये की लागत से गरीबों तक बिजली पहुंचा रही है।

Modi sarkar ki Sukanya Samriddhi yojana ke baare me jane

मोदी सरकार की सुकन्या समृद्धि योजना के जरिये आप भी सुरक्षित कीजिए अपनी लाडली का भविष्य, जानिए कैसे?

प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी ने देश में बढ़ते लिंगानुपात और महिलाओं की असमान स्थिति को सुधारने के लिए 22 जनवरी 2015 को एक ऐसी योजना शुरू की जो हर बेटी के पिता को अपनी लाडली का भविष्य सुरक्षित रखने में मदद करती है। लड़कियों की शिक्षा को बढ़ावा देने के लिए सरकार ने सुकन्या समृद्धि योजना की शुरुआत की। इस योजना का उद्देश्य बालिकाओं की पढ़ाई और उनकी शादी पर आने वाले खर्च को आसान बनाना है। आप आसान किस्तों में अपनी लाडली के भविष्य को सुरक्षित कर सकते हैं। मोदी सरकार की इस योजना की विपक्ष के नेता भी तारीफ करते हैं। जानकार मानते हैं कि बेटियों के भविष्‍य के लिए पैसे जोड़ने के लिए सुकन्‍या समृद्धि योजना एक बेहतरीन स्कीम है। इस स्कीम में आपको न पब्लिक प्रोविडेंट फंड (पीपीएफ) की तुलना में ज्‍यादा ब्‍याज मिलता है बल्कि टैक्स में भी छूट मिलती है। आइए जानें इस योजना के बारे में विस्तार से…..

क्या है सुकन्या समृद्धि योजना

प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी द्वारा शुरू की गई सुकन्या समृद्धि योजना का मकसद बेटियों के भविष्य को सुरक्षित बनाना है। सुकन्‍या समृद्धि योजना खाता आप किसी भी पोस्‍ट ऑफिस या बैंकों की अधिकृत शाखा में खुलवा सकते हैं। आमतौर पर जिन बैंकों में पीपीएफ खाता खोलने की सुविधा होती है, वहां सुकन्‍या समृद्धि योजना का खाता भी खोलने की सुविधा होती है। सुकन्य समृद्धि योजना का खाता बेटी के जन्म से लेकर जब तक वो 10 साल की आयु की होती है तब तक ही खुल सकता है। यानी बेटी की उम्र 10 होने के बाद आप इस योजना के तहत खाता नहीं खुलवा सकते हैं। एक जमाकर्ता बेटी के नाम से सिर्फ एक ही खाता खोल सकता है। अगर आपकी दो बेटियां हैं तो आप दो खाते खुलवा सकते हैं। खास शर्ते के साथ ही तीसरा खाता खोला जा सकता है। इस योजना के तहत अब तक 1.26 करोड़ बेटियों के जमा खाते खोले गए हैं। उन खातों में करीब 2000 करोड़ रुपए जमा कराए गए हैं।

कौन खुलवा सकता है सुकन्या समृद्धि खाता

अगर आपकी बेटी 10 साल से कम उम्र की है तो आप अपनी बेटी के नाम पर सुकन्या धन योजना खुलवा सकते हैं। आप यह खाता तभी खुलवा सकते हैं जब आप बेटी के प्राकृतिक या कानूनन अभिभावक हों। आप एक खाता 1000 रुपए की शुरुआती जमा राशि के साथ खोल सकते हैं और एक वित्तीय वर्ष में इस खाते में कम से कम 1000 रुपए और अधिकतम 150000 रुपए तक ही जमा कर सकते हैं। अगर आप किसी वित्तीय वर्ष में न्यूनतम राशि जमा करना भूल गए या नहीं जमा कर सके तो आपको न्यूनतम जमा राशि के साथ-साथ 50 रुपए प्रतिवर्ष के जुर्माना भी भरना होगा।

कैसे खुलवाएं सुकन्‍या समृद्धि अकाउंट सुकन्या समृद्धि खाता खुलवाने के लिए आप किसी भी बैंक की आधिकारिक शाखा में जाकर पूरी जानकारी हासिल कर सकते हैं और वहां फॉर्म भरने के बाद यह खाता खोल सकते हैं। खाता खोलने के लिए कुछ जरूरी दस्तावेज चाहिए, जिनका होना अनिवार्य है। जैसे … बच्‍ची का जन्‍म प्रमाणपत्र। जमाकर्ता (माता-पिता या अभिभावक) का पहचान पत्र जैसे पैन कार्ड, राशन कार्ड, ड्राइविंग लाइसेंस, पासपोर्ट आदि। जमाकर्ता का एड्रेस प्रूव माता-पिता के साथ बच्ची की तस्वीर। आप इस खाते को डाकघर में भी खोल सकते हैं। इसके अलावा आप ऑनलाइन भी सुकन्या समृद्धि खाता खोल सकते हैं। आप https://rbidocs.rbi.org.in/rdocs/content/pdfs/494SSAC110315_A3.pdf पर जाकर खाता खोलने के लिए फॉर्म भर सकते हैं। खाता खुल जाने पर जिस पोस्‍ट ऑफिस या बैंक में आपने खाता खुलवाया है, वहां से आपको एक पासबुक मिलेगा। आप चेक, ड्राफ्ट या फिर नेटबैंकिंग का इस्‍तेमाल कर खाते में पैसा जमा कर सकते हैं।

सुकन्‍या समृद्धि योजना के फायदे, टैक्स में छूट

सुकन्या समृद्धि योजना में निवेश करने पर आपको न केवल टैक्स में छूट मिलती है बल्कि आपको पीपीएफ से ज्यादा ब्याज मिलता है। इस योजना पर वर्तमान में बैंक आपको 8.6 प्रतिशत की दर से ब्याज दे रहा है, जो पीएफ, पीपीएफ से ज्यादा है। वहीं इस योजना के तहत आपको टैक्स में भी छूट मिलती है।इस बजट में इसके ब्याज राशि पर भी टैक्स छूट दी गई है। सबसे खास कि इस योजना के तहत मैच्‍योरिटी पर मिलने वाली रकम भी टैक्‍स फ्री होती है। इस योजना के तहत खुलने वाले खातों को आयकर कानून की धारा 80-जी के तहत छूट दी जाएगी। वहीं आप आसानी से इस खाते को देश के किसी भी हिस्से में ट्रांसफर करवा सकते हैं।

कब निकाल सकते हैं सुकन्या समृद्धि योजना से पैसा

सुकन्या समृद्धि योजना बेटी के खाता खोलने की तारीख से उसके 21 साल के पूरा होने तक चलता रहेगा। बेटी के 21 साल पूरे होने के बाद ही खाता मेच्योर होगा। अगर बेटी की शादी 18 साल के बाद या 21 वर्ष से पहले हो जाती है तो शादी की तारीख के बाद खाता बंद कर दिया जाएगा। खाता बंद होने के बाद जमा रकम ब्याज समेत निकाली जा सकती है। बेटी के 18 साल के होने से पहले आप खाते से पैसा नहीं निकाल सकते हैं। बेटी के 18 साल पूरे करने के बाद आपको खाते से आंशिक निकासी कर सकते हैं। बेटी के 18 साल पूरे होने के बाद आप उसकी उच्च शिक्षा , बीमारी जैसे कामों के लिए खाते में जमा रकम का 50 फीसदी तक निकाल सकते हैं।अगर इस दौरान बच्ची की मृ्त्यु हो जाती है तो खाता वहीं बंद हो जाएगा और सारी जमा राशी अभिभावक को सौंप दी जाएगी। बेटी के 21 साल पूरे से पहले बेटी की शादी, उच्च शिक्षा या किसी गंभीर बीमारी की वजह से खाते से पैसे निकाले जा सकते हैं। नए नियम के मुताबिक अब बेटी की शादी पर 100 फीसदी रकम निकाल सकते हैं। वहीं खाता मैच्योर होने पर इस पर कोई भी ब्याज नहीं दिया जाएगा।

Pm narendra modi ne twitter ke jariye 12th ke topper ko kaha shukriya

प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने ट्वीट के जरिये 12वीं के टॉपर को कहा शुक्रिया, जाने क्यों?

प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने आज एक ट्वीट किया है, जो उत्तर प्रदेश के रहने वाले एक छात्र के लिए किसी बड़े सरप्राइज से कम नहीं है। दरअसल प्रधानमंत्री मोदी ने अपने ट्विटर हैंडल से एक ट्वीट किया है, जिसमें उन्होंने आईएससी टॉपर साक्षी को शुभकामनाएं दी है। साथ ही टॉपर की ओर से प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी को भेजे गए एक लेटर को भी पोस्ट किया है, जिसमें साक्षी ने कहा था कि पीएम की लिखी किताब एग्जाम वॉरियर्स मददगार साबित हुई।

साक्षी प्रद्युम्न ने आईएससी बोर्ड परीक्षा में सर्वाधिक अंक लाने का श्रेय प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी द्वारा लिखी गई किताब ‘एग्जाम वॉरियर्स’ को दिया। बता दें कि मोदी ने बच्चों से परीक्षा के डर को समाप्त करने के लिए ‘एग्जाम वॉरियर्स’ किताब लिखी थी, जिसमें बच्चों को परीक्षा में बेहतर नंबर लाने व खुद की रक्षा करने को लेकर टिप्स दी गई है।


प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने अपने ट्वीट में साक्षी का शुक्रिया भी अदा किया है और उन्होंने लिखा है कि मुझे खुशी है कि एग्जाम वॉरियर्स ने आपकी परीक्षा की तैयारी में मदद की। वहीं साक्षी ने भी लेटर में लिखा था एग्जाम वॉरियर्स ने न सिर्फ उनकी नर्वसनेस और स्ट्रेस दूर करने में मदद की, बल्कि उन्होंने टाइम मैनेजमेंट और प्रेजेंटेशन का फंडा भी समझा।

बता दें कि साक्षी प्रद्युम्न ने आईएससी बोर्ड में पहला स्थान हासिल किया है और उन्होंने 99.5 फीसदी अंक हासिल किए हैं। उन्होंने गणित, फिजिक्स, कैमेस्ट्री, कम्प्यूटर साइंस में 100, हिंदी में 99 और अंग्रेजी में 98 अंक हासिल किए हैं।

Modi Sarkar ne uttar pradesh ki betiyo ko diya yah tohpha

मोदी सरकार ने उत्तर प्रदेश की बेटियों को दिया यह तोहफा

केंद्र की मोदी सरकार ने उत्तर प्रदेश की बेटियों के लिए तोहफा दिया है। उत्तर प्रदेश के कस्तूरबा गांधी आवासीय बालिका विद्यालयों में जल्द ही 11,800 सीटें बढ़ेंगी। केंद्र सरकार ने प्रदेश के 236 कस्तूरबा गांधी विद्यालयों में सीटों को डेढ़ गुना करने की सहमति दे दी है। इसके लिए केंद्र की तरफ से 200 करोड़, 60 लाख रुपए का बजट दिया जाएगा।

दरअसल प्रदेश में इस समय कुल 746 कस्तूरबा गांधी विद्यालय हैं। इनमें से प्रत्येक विद्यालय में 100 सीटों पर कक्षा 6 से 8 तक बालिकाओं के दाखिले किए जाते हैं। यहां दाखिला लेने वाली छात्राओं को परिसर में ही हॉस्टल की भी सुविधा मिलती है। प्रदेश के कस्तूरबा गांधी विद्यालयों में अभी जितनी सीटें उपलब्ध हैं, उससे कहीं अधिक मांग है। हर साल हजारों बालिकाओं को यहां दाखिला नहीं मिल पाता।

इसे देखते हुए उत्तर प्रदेश सरकार के राज्य परियोजना कार्यालय ने मानव संसाधन विकास मंत्रालय को प्रत्येक विद्यालय में सीटों की संख्या 100 से बढ़ाकर 150 करने का प्रस्ताव भेजा था। मानव संसाधन विकास मंत्रालय के प्रोजेक्ट अप्रूवल बोर्ड की बैठक में इस पर सहमति दे दी गई है। पहले चरण में प्रदेश के 236 विद्यालयों में 50-50 सीटें बढ़ाई जाएंगी। इन विद्यालयों में छात्राओं के रहने के लिए हॉस्टल निर्माण किया जाएगा।

हॉस्टल निर्माण के लिए केंद्र सरकार की तरफ से प्रति विद्यालय 85 लाख रुपये दिए जाएंगे। उत्तर प्रदेश के राज्य परियोजना निदेशक व विशेष सचिव बेसिक शिक्षा डॉ वेदपति मिश्र ने बताया कि उत्तर प्रदेश में इस समय 746 कस्तूरबा गांधी विद्यालयों कुल 74,600 सीटें हैं। इनमें से 236 कस्तूरबा गांधी विद्यालयों में 50-50 सीटें बढ़ाने सहमति मिली है।