प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने शुक्रवार को पश्चिम बंगाल के शांति निकेतन में विश्व भारती विश्वविद्यालय के 49वें दीक्षांत समारोह में शामिल हुए। यहां पीएम नरेंद्र मोदी ने ना सिर्फ छात्रों को संबोधित किया, बल्कि शांति निकेतन में बांग्लादेशी पीएम शेख हसीना के साथ मिलकर बांग्लादेश भवन का उद्घाटन भी किया। इस मौके पर जहां प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने कहा कि भारत और बांग्लादेश दो अलग देश हैं जो सहयोग एवं आपसी सहयोग से जुड़ें हैं। चाहे उनकी संस्कृति हो या लोकनीति, दोनों देशों के लोग एक दूसरे से बहुत कुछ सीख सकते हैं। बांग्लादेश भवन इसका एक उदाहरण है।’ बता दें कि मोदी ने शेख हसीना के साथ बांग्लादेश भवन का उद्घाटन किया, जो ‘भारत और बांग्लादेश के बीच सांस्कृतिक संबंधों का प्रतीक है।’ वहीं, बांग्लादेशी पीएम शेख हसीना ने कहा कि रबींद्रनाथ टैगोर ने सबसे अधिक रचनाएं बांग्लादेश में की है, इस तरह से बांग्लादेश का उन पर ज्यादा अधिकार बनता है।
LIVE: PM Shri @narendramodi attends convocation of Visva-Bharati University in West Bengal. https://t.co/CgD7yAuBOW
— BJP (@BJP4India) May 25, 2018
दीक्षांत समारोह के संबोधन के शुरुआत में पीएम नरेंद्र मोदी को माफी मांगनी पड़ी। उन्होंने कहा कि “मैं विश्व भारती के कुलाधिपति के रूप में आपसे क्षमा मांगता हूं। जब मैं यहां आ रहा था, कुछ छात्रों की भावभंगिमा ने मुझे पेयजल की कमी के बारे में बता दिया। मैं इस असुविधा के लिए आपसे क्षमा मांगता हूं।” इसके बाद उन्होंने अपने भाषण में छात्रों से कहा कि वे सभी इस समृद्ध विरासत के वारिस हैं।
प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने कहा कि चाहे सड़क हो, रेल हो या अंतर्देशीय जलमार्ग हों, या फ़िर कोस्टल शिपिंग, हम कनेक्टिविटी के क्षेत्र में तेजी से आगे बढ़ रहे हैं। सन 1965 से बंद पड़ी कनेक्टिविटी की राहें एक बार फ़िर खोली जा रही हैं, और कनेक्टिविटी के नए आयाम भी विकसित हो रहे हैं।
चाहे सड़क हो, रेल हो या अंतर्देशीय जलमार्ग हों, या फ़िर coastal shipping, हम connectivity के क्षेत्र में तेजी से आगे बढ़ रहे हैं। 1965 से बंद पड़ी connectivity की राहें एक बार फ़िर खोली जा रही हैं, और connectivity के नए आयाम भी विकसित हो रहे हैं: पीएम @narendramodi pic.twitter.com/LynXtW1gFf
— BJP (@BJP4India) May 25, 2018
पीएम नरेंद्र मोदी ने कहा कि आने वाली पीढ़ियां वे चाहे बांग्लादेश की हों या फिर भारत की, वे इन समृद्ध परंपराओं, इन महान आत्माओं के बारे में जानें और समझें, इसके लिए हम प्रयासरत हैं। हमारी सरकार के सभी सम्बन्धित अंग इस काम में लगे हैं।
आने वाली पीढ़ियाँ वे चाहे बांग्लादेश की हों या फिर भारत की, वे इन समृद्ध परंपराओं, इन महान आत्माओं के बारे में जानें और समझें, इसके लिए हम प्रयासरत हैं। हमारी सरकार के सभी सम्बन्धित अंग इस काम में लगे हैं: पीएम @narendramodi https://t.co/aszXiCCj1a pic.twitter.com/SrWppXuAA5
— BJP (@BJP4India) May 25, 2018
प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने कहा कि दूसरे देशों के लोग कैसे रहते हैं, उनके सामाजिक, सांस्कृतिक मूल्य क्या हैं, इस बारे में जानने पर वो हमेशा जोर देते थे। लेकिन इसी के साथ वो ये भी कहते थे कि भारतीयता नहीं भूलनी चाहिए। शिक्षा तो व्यक्ति के हर पक्ष का संतुलित विकास है जिसको समय और स्थान में बांधा नहीं जा सकता है। गुरुदेव चाहते थे कि भारतीय छात्र बाहरी दुनिया में भी जो कुछ हो रहा है, उससे परिचित रहें।
दूसरे देशों के लोग कैसे रहते हैं, उनके सामाजिक, सांस्कृतिक मूल्य क्या हैं, इस बारे में जानने पर वो हमेशा जोर देते थे। लेकिन इसी के साथ वो ये भी कहते थे कि भारतीयता नहीं भूलनी चाहिए: पीएम @narendramodi
— BJP (@BJP4India) May 25, 2018
शिक्षा तो व्यक्ति के हर पक्ष का संतुलित विकास है जिसको समय और स्थान में बांधा नहीं जा सकता है। गुरुदेव चाहते थे कि भारतीय छात्र बाहरी दुनिया में भी जो कुछ हो रहा है, उससे परिचित रहें: पीएम @narendramodi https://t.co/Ez2CQZZMLb
— BJP (@BJP4India) May 25, 2018
उन्होंने कहा कि गुरुदेव मानते थे कि हर व्यक्ति का जन्म किसी ना किसी लक्ष्य की प्राप्ति के लिए होता है। प्रत्येक बालक अपनी लक्ष्य-प्राप्ति की दिशा में बढ़ सके, इसके लिए उसे योग्य बनाना शिक्षा का महत्वपूर्ण कार्य है। वो कहते थे कि शिक्षा केवल वही नहीं है जो विद्यालय में दी जाती है।
गुरुदेव मानते थे कि हर व्यक्ति का जन्म किसी ना किसी लक्ष्य की प्राप्ति के लिए होता है। प्रत्येक बालक अपनी लक्ष्य-प्राप्ति की दिशा में बढ़ सके, इसके लिए उसे योग्य बनाना शिक्षा का महत्वपूर्ण कार्य है। वो कहते थे कि शिक्षा केवल वही नहीं है जो विद्यालय में दी जाती है: पीएम
— BJP (@BJP4India) May 25, 2018
दुनिया के अनेक विश्वविद्यालयों में टैगोर आज भी अध्ययन का विषय हैं। गुरुदेव पहले भी Global Citizen थे और आज भी हैं। मैं जब तजिकिस्तान गया था, तो वहां गुरुदेव की एक मूर्ति का लोकार्पण करने का अवसर मिला था। गुरुदेव के लिए लोगों में जो आदरभाव मैंने देखा था, वो आज भी याद है।
दुनिया के अनेक विश्वविद्यालयों में टैगोर आज भी अध्ययन का विषय हैं। गुरुदेव पहले भी Global citizen थे और आज भी हैं: पीएम @narendramodi https://t.co/Ez2CQZZMLb
— BJP (@BJP4India) May 25, 2018
मैं जब तजिकिस्तान गया था, तो वहां गुरुदेव की एक मूर्ति का लोकार्पण करने का अवसर मिला था। गुरुदेव के लिए लोगों में जो आदरभाव मैंने देखा था,वो आज भी याद है: पीएम @narendramodi https://t.co/Ez2CQZZMLb
— BJP (@BJP4India) May 25, 2018
गुरुदेव के विजन के साथ-साथ न्यू इंडिया की आवश्यकताओं के अनुसार हमारी शिक्षा व्यवस्था को सुदृढ़ करने के लिए केंद्र सरकार लगातार प्रयासरत है। इस बजट में RISE के तहत अगले चार साल में देश के शिक्षा तंत्र को सुधारने के लिए 1 लाख करोड़ रुपए खर्च किए जाएंगे।
गुरुदेव के विजन के साथ-साथ New India की आवश्यकताओं के अनुसार हमारी शिक्षा व्यवस्था को सुदृढ़ करने के लिए केंद्र सरकार लगातार प्रयासरत है। इस बजट में RISE के तहत अगले चार साल में देश के Education System को सुधारने के लिए 1 लाख करोड़ रुपए खर्च किए जाएंगे: पीएम pic.twitter.com/PkszoDsyAL
— BJP (@BJP4India) May 25, 2018
उन्होंने कहा कि यहां हमारे बीच में बांग्लादेश की प्रधानमंत्री शेख हसीना जी भी मौजूद हैं। भारत और बांग्लादेश दो राष्ट्र हैं, लेकिन हमारे हित एक दूसरे के साथ समन्वय और सहयोग से जुड़े हैं। Culture हो या फिर Public Policy हम एक दूसरे से बहुत-कुछ सीखते हैं। इसी का एक उदाहरण बांग्लादेश भवन है।
Culture हो या फिर Public Policy हम एक दूसरे से बहुत-कुछ सीखते हैं। इसी का एक उदाहरण बांग्लादेश भवन है: पीएम @narendramodi https://t.co/Ez2CQZZMLb pic.twitter.com/vDL4ilJK2r
— BJP (@BJP4India) May 25, 2018
यहां मैं एक अतिथि नहीं बल्कि एक आचार्य के नाते आपके बीच में आया हूं। यहां मेरी भूमिका इस महान लोकतंत्र के कारण है। उन्होंने कहा कि ये मेरा सौभाग्य है कि गुरुदेव रबिन्द्रनाथ टैगोर की इस पवित्र भूमि में इतने आचार्यों के बीच मुझे आज कुछ समय बिताने का समय मिला है।
यहाँ मैं एक अतिथि नहीं बल्कि एक आचार्य के नाते आपके बीच में आया हूँ । यहाँ मेरी भूमिका इस महान लोकतंत्र के कारण है: पीएम @narendramodi https://t.co/Ez2CQZZMLb pic.twitter.com/l4ZoxPMEs9
— BJP (@BJP4India) May 25, 2018
ये मेरा सौभाग्य है कि गुरुदेव रबिन्द्रनाथ टैगोर की इस पवित्र भूमि में इतने आचार्यों के बीच मुझे आज कुछ समय बिताने का समय मिला है : पीएम @narendramodi
— BJP (@BJP4India) May 25, 2018
इस विश्वविद्यालय को नोबल पुरस्कार विजेता रबींद्रनाथ टैगोर ने पश्चिम बंगाल के बीरभूम जिले के बोलपुर में बनवाया था। खबरों के मुताबिक, अपर्याप्त पेयजल आपूर्ति की वजह से कुछ छात्र बीमार पड़ गए। इस दौरान मोदी की बांग्लादेशी समकक्ष शेख हसीना, पश्चिम बंगाल के राज्यपाल के.एन. त्रिपाठी और मुख्यमंत्री ममता बनर्जी भी मौजूद रहे।