प्रधानमंत्री श्री नरेन्द्र मोदी जी की सरकार बनने के बाद से केंद्र सरकार ने महिलाओं के अधिकारों की रक्षा, महिला सशक्तीकरण तथा महिला सुरक्षा पर अपना पूरा ध्यान केंद्रित रखा है। मोदी जी स्वयं इस हेतु कार्यरत रहे हैं और उन्होंने ये सुनिश्चित किया की आने वाले भविष्य में भारत की महिलाएं देश का नेतृत्व करने के लिए भी तैयार रहें।
महिला सुरक्षा पर और बेहतर तरीके से ध्यान देने के लिए अब सरकार मुसीबत में फंसी महिलाओं को त्वरित मदद देने के लिए मोबाइल फोन में पैनिक बटन को अनिवार्य कर रही है। इसके अंतर्गत मोबाइल के बेसिक पैनिक बटन को दबाने पर सायरन की तरह जोरदार आवाज निकलेगी, जिससे आसपास के लोग जान जाएंगे कि महिला परेशानी में है। इसके अलावा पैनिक बटन दबाते ही जीपीएस की मदद से नज़दीकी पुलिस थाने को आपके लोकेशन का पता चल जाएगा और वे आपके पास मदद के लिए पहुंच जाएंगे। इसके साथ ही मोबाइल में पहले से आपने जिन पांच करीबियों के नाम दर्ज किए होंगे, उनके पास भी एसएमएस संदेश पहुंच जाएंगे।
महिला सुरक्षा के लिए यह एक क्रांतिकारी कदम के तौर पर देखा जा रहा है। इसके अलावा भी मोदी जी की सरकार ने महिला सुरक्षा के लिए बनाये गए निर्भया फंड के अंतर्गत कई कदम उठाए हैं।
- रेलवे द्वारा Integrated Emergency Response Management परियोजना चलाई जा रही है।
- देश के 983 प्रमुख रेलवे स्टेशनों पर सीसीटीवी कैमरे लगाए जा रहा हैं, इनके माध्यम से 24 घंटे महिला यात्रियों को सुरक्षा प्रदान की जाएगी।
- पांच राज्यों में महिला पुलिस स्वयंसेवक तैनात किए गए हैं, जो महिलाओं को उनके खिलाफ होने वाले अपराध की रिपोर्ट दर्ज कराने में मदद करती हैं।
- एक Central Victim Compensation Fund बनाया गया है, जिसके जरिए पीड़ित महिलाओं को समय पर मदद दी जाती है।
- महिला सुरक्षा के लिए मोदी सरकार ने New Taxi Policy Guidelines भी बनाई है और यात्रा करने वाली महिलाओं की सुरक्षा के कई प्रावधान किए हैं।
इसके अलावा यौन उत्पीड़न से निवारण के लिए ई-प्लेटफॉर्म उपलब्ध कराया गया है। महिलाओं के लिए वन स्टॉप सेंटर बनाये गए हैं जहाँ पीड़ित महिलाओं को 24 घंटे आपातकालीन सेवा मुहैया करवाई जाती है। इसके साथ ही महिलाओं की सहायता के लिए हेल्पलाइन 181 चालू किया गया है। ऑनलाइन शिकायत की सुविधा के लिए She Box है जहाँ महिलाएं अपनी शिकायत दर्ज करवा सकती हैं। एसिड अटैक से पीड़ित महिलाओं को दिव्यांगों जैसी मदद शुरू की गई है। मृत्यु प्रमाणपत्र में विधवा का नाम दर्ज करना अब जरूरी कर दिया गया है। साथ ही विधवा महिलाओं के लिए स्वाधार गृह स्थापित किए गए हैं। महिलाओं के लिए पासपोर्ट नियमों में भी बदलाव किये गए हैं जिससे अब शादी के बाद नाम परिवर्तन सम्बन्धी समस्याओं से आसानी हो जाती है । कामकाजी महिलाओं के लिए कम खर्चीले हॉस्टल बनाये गए हैं। देह व्यापार से बचाई गईं महिलाओं को आश्रय उपलब्ध करवाए गए हैं। यही नहीं महिलाओं के सशक्तिकरण के लिए किये जा रहे सभी कार्यों को महज एक लेख में समेट पाना अतिकठिन कार्य है। पर इससे यह तो पता चल ही जाता है की मोदी जी की सरकार सही दिशा में कार्यरत है और आने वाले सालों में स्थितियाँ और ज्यादा बेहतर हो जायेंगीं।