प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने यहां मंगलवार को राष्ट्रीय अनुसूचित जाति/जनजाति केंद्र के साथ ही सूक्ष्य, लघु और मध्य दर्जे (एमएसएमई) के उद्योगों के लिए जेड (जीरो डिफेक्ट, जीरो इफेक्ट) योजना की शुरुआत की और निमार्ताओं से गुजारिश की कि वे इन नई योजनाओं का लाभ उठाएं.
अनुसूचित जाति/जनजाति केंद्र इस श्रेणी के लोगों को अपना सूक्ष्य, लघु और मध्य दर्जे (एमएसएमई) की इकाइयां लगाने में मदद करेगा. प्रधानमंत्री ने कहा, “दलितों के लिए अंदर उद्यमिता की भावना से हमें लाभ होगा. ये वो युवा है जिनका सपना कारोबार लगाना और नौकरियां पैदा करना है।” उन्होंने बाद में इसे ट्वीट भी किया.
उन्होंने कहा, “दुनिया भर के बाजार हमारा इंतजार कर रहे हैं. यह सोचने की जरूरत नहीं है कि हमारे उद्यम छोटे हैं. क्या हमारा एमएसएमई सेक्टर केवल भारत का बाजार देखता रहेगा? नहीं, हमें वैश्विक बाजार पर नजर रखनी चाहिए और उनकी गुणवत्ता नियंत्रण के मानकों पर खरा उतरना चाहिए.”
खादी उत्पादों पर जोर देते हुए मोदी ने कहा, “अब जमाना बदल गया है. देखिए खादी की कितनी अच्छी मार्केटिंग हो रही है. पहले यह ‘खादी केवल देश के लिए’ था, अब यह ‘खादी फैशन के लिए’ हो गया है.” प्रधानमंत्री ने महिलाओं को आत्मनिर्भर बनाने के लिए चरखे बांटे. कुल 500 महिलाओं को चरखे दिए गए.