प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने कर्नाटक चुनाव में एक मई को यहां अपनी पहली चुनावी रैली में कांग्रेस अध्यक्ष राहुल गांधी पर सीधा हमला बोला। पिछले दिनों राहुल गांधी ने कहा था कि यदि वह 15 मिनट भी बोलेंगे तो पीएम नरेंद्र मोदी उनके सामने बैठ नहीं पाएंगे। इसका जवाब देते हुए प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने तंज कसते हुए कहा कि मैं राहुल गांधी को चुनौती देता हूं कि आप 15 मिनट तक कर्नाटक सरकार की उपलब्धियों के बारे में बिना किसी पेपर के सहारे बोल दीजिए। आप चाहें तो हिंदी, अंग्रेजी या अपनी मातृभाषा में बोल दीजिए। इसके साथ ही यह भी कहा कि आप सही कहते हैं कि मैं आपके सामने 15 मिनट नहीं बोल पाएंगे क्योंकि आप ‘नामदार’ हैं और हम ‘कामदार’ हैं। लिहाजा आपके सामने कैसे बैठ पाएंगे।
#WATCH PM Modi addresses public rally in Mysuru’s Santhemarahalli https://t.co/DdB8fs0HLw
— ANI (@ANI) May 1, 2018
PM Modi’s challenge to Rahul Gandhi : speak for 15 minutes on Congress govt’s achievements in Karnataka without reading from any piece of paper, in any language, Hindi, English or even your mother’s mother tongue & mention ‘Vishweshwaraiah’ at least five times in the speech. pic.twitter.com/Lfx9znjt6V
— BJP (@BJP4India) May 1, 2018
पीएम नरेंद्र मोदी के संबोधन की खास बातें:
Congress is led by Rahul Gandhi who has no knowledge of India’s history, has no respect for ‘Vande Mataram’, is not even aware of the promises made by his party’s govt. Will he ask Manmohan Singh & Sonia Gandhi why they failed to fulfil the promises of electrifying all villages? pic.twitter.com/dJYeggalJp
— BJP (@BJP4India) May 1, 2018
कांग्रेस अध्यक्ष परम पूज्य माताजी (सोनिया गांधी) की बात तक नहीं मानते हैं।
आपकी माताजी ने कहा था कि साल 2009 तक देश के सभी घरों में बिजली पहुंचाएंगे, लेकिन आप चुप क्यों बैठे हैं।
कांग्रेस के नए अध्यक्ष अति-उत्साह में मर्यादा तोड़ देते हैं।
28 अप्रैल को बना इतिहास, 18 हजार गांवों तक बिजली पहुंची है, जिससे लोगों के जीवनस्तर में सुधार हुआ है।
कर्नाटक में बीजेपी की हवा नहीं बल्कि आंधी चल रही है।
कर्नाटक में साल 2014 तक 39 गांव ऐसे थे, जहां पर बिजली नहीं थी, जहां पर बीजेपी ने अब बिजली पहुंचाई है।
कांग्रेस अध्यक्ष राहुल गांधी पहले मजदूरों का मजाक उड़ाते थे, उनकी बेइज्जती करते थे।
राहुल गांधी ने मुझे चुनौती दी थी कि वह जब संसद में बोलेंगे तो मैं 15 मिनट वहां बैठ नहीं पाउंगा।
राहुल ने सही कहा था, क्योंकि वो ‘नामदार’ हैं और हम ‘कामदार’ हैं और हम आपके सामने कैसे बैठ सकते हैं।
राहुल किसी भी भाषा में 15 मिनट बिना कागज के बोलकर दिखाएं।
किसानों की हर जरूरत पर केंद्र सरकार का ध्यान।
15 मिनट तक बिना कागज लिए कर्नाटक सरकार की सफलता बताइए।
वंशवाद की राजनीति ने देश और लोकतंत्र दोनों को बर्बाद करके रखा हुआ है।
कांग्रेस ने इस बार भी मंत्रियों के बेटों को रण में उतार में दिया है।
पिछले 5 सालों में कर्नाटक में कानून का बुरा हाल, कोई व्यक्ति सुरक्षित नहीं।
कर्नाटक में लोकायुक्त भी सुरक्षित नहीं तो एक आम इंसान की क्य़ा बात है?
12 मई को आपका फैसला भ्रष्टाचारियों को सजा दिलाने के लिए होगा।
इस दौरे पर प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी 17 रैलियों को संबोधित करने वाले हैं। इन रैलियों के लिए पार्टी की ओर से सोच-समझकर रणनीति तय की गई है। कर्नाटक चुनावों में बीजेपी ने 150 सीटें जीतने का लक्ष्य निर्धारित किया है। हर चुनावी रैली में पार्टी के अध्यक्ष अमित शाह इस बात का दावा कर रहे हैं कि पार्टी 150 सीटों से ज्यादा जीतेगी।
उल्लेखनीय है कि प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी जिस क्षेत्र का आज दौरे करने जा रहे हैं, वह मध्य कर्नाटक का हिस्सा है। कर्नाटक के चामराज नगर जनपद में बीजेपी हमेशा से ही कमजोर रही है और यहां पर पार्टी को श्रीनिवास प्रसाद का साथ मिला है। बता दें कि कांग्रेस में तवज्जों ना मिलने के कारण उन्होंने पार्टी को अलविदा कहा है। यह क्षेत्र एससी/एसटी बहुल हैं। ऐसे में श्रीनिवास पार्टी के लिए काफी फायदेमंद साबित हो सकते हैं।
On 12th May the people of Karnataka are not only choosing their MLA. They are deciding the future of the state and the trajectory the state will take.
Let this vote be for honesty. Let this vote strengthen our commitment to end corruption: PM @narendramodi
— narendramodi_in (@narendramodi_in) May 1, 2018
बता दें कि कर्नाटक में 12 मई को विधानसभा चुनावों के लिए मतदान होने वाले हैं। मतदान के लिए सभी राजनीतिक पार्टियां कमर कस चुकी हैं। कांग्रेस अध्यक्ष राहुल गांधी से लेकर बीजेपी अध्यक्ष अमित शाह अब तक कई रैलियों को संबोधित कर चुके हैं। प्रदेश में अहम मुकाबला सत्ताधारी कांग्रेस और विपक्षी बीजेपी और जनता दल (सेकुलर) के बीच माना जा रहा है। बीजेपी इस कोशिश में लगी हुई है कि इस बार कर्नाटक में बीजेपी येदुरप्पा के नेतृत्व वाली सरकार बनें।